“गाजीपुर मेडिकल कॉलेज में 15 साल के किशोर की मौत पर परिजनों का हंगामा, डॉक्टर और नर्स पर लापरवाही के आरोप”

गाजीपुर के महर्षि विश्वामित्र स्वशासी राजकीय मेडिकल कॉलेज के अस्पताल में उस वक्त हंगामा मच गया, जब इलाज के दौरान 15 साल के किशोर की मौत हो गई। परिजन किशोर के शव के स्ट्रेचर पर लेकर अस्पताल में हंगामा करने लगे। इस दौरान मृतक किशोर के परिजनों ने आरोप लगाया कि डॉक्टर व नर्स की लापरवाही से किशोर की मौत हुई है। मामले में चीफ मेडिकल ऑफिसर डॉ राजेश सिंह ने बताया कि मरीज का प्रॉपर तरीके से इलाज किया जा रहा था। लेकिन मरीज को बचाया नहीं जा सका। वही परिजनों का डॉक्टर व नर्स की लापरवाही से किशोर की गई जान के आरोप पर कहा कि मामले की जांच कराई जागेगी। अगर जो भी दोषी पाए जाएंगे तो उनके विरुद्ध शासन को पत्र लिखा जाएगा। वही मेडिकल कालेज के अस्पताल में हंगामे की सूचना पर कोतवाल समेत कोतवाली की फोर्स पहुंच गई और मामले को किसी तरह समझाबुझा कर शांत कराया।
जानकारी के मुताबिक नोनहरा थाना इलाके के चौरही गांव निवासी 15 साल के मृतक अभय कुमार पुत्र गोरखनाथ को अचानक उल्टी-दस्त होने लगी। जिसकी वजह से उसकी हालत खराब होने लगी। जिसके बाद परिजन सुबह मेडिकल कालेज के इमरजेंसी में भर्ती कराया। जहां पर डॉक्टरों ने तत्काल इलाज शुरू कर दिया। जब उसकी हालत में कुछ सुधार होते देख डॉक्टरों ने मृतक अभय को वार्ड में भर्ती करा दिया। मामले में परिजन अरबिंद ने किशोर की मौत का आरोप नर्स और डॉक्टर पर लगाते हुए बताया कि सुबह मृतक अभय को उल्टी दस्त हो रही थी। जिसका इलाज कराने के लिए मेडिकल कालेज के अस्पताल के इमरजेंसी में भर्ती कराया गया। दोपहर बाद उसके पेट मे अचानक तेज दर्द होने लगा। जब नर्स से बताया गया कि जो डॉक्टर के द्वारा बताया गया उस तरह से इलाज नही किया जा रहा है। तो नर्स भड़क गई और मुझे डांटने लगी। नर्स द्वारा दिये गए सलाह के मुताबिक इलाज नहीं किया गया और डॉक्टर भी भर्ती के बाद देखने तक नहीं आए। मेरी मांग है कि नर्स और डॉक्टर के खिलाफ कार्रवाई की जाए। वहीं मामले में चीफ मेडिकल ऑफिसर यानी सीएमएस डॉ राजेश सिंह ने बताया कि मरीज का प्रॉपर तरीके से इलाज किया गया है। फिलहाल परिजनों के आरोप के आधार पर मामले की जांच कराई जाएगी। अगर इलाज के दौरान जिसकी लापरवाही पाई जाएगी उसके खिलाफ विधिक कार्रवाई की जाएगी।
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