सहकारिता क्षेत्र को बढ़ावा देने में नाबार्ड का सराहनीय योगदान : सहकारिता मंत्री

लखनऊ। प्रदेश के सहकारिता राज्य मंत्री जेपीएस राठौर ने उत्तर प्रदेश में कृषि और सहकारिता क्षेत्र को बढ़ावा देने मे नाबार्ड के योगदान की सराहना की। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि नाबार्ड ने अपने निर्धारित लक्ष्यों को पूरा करने में सफलता प्राप्त की है और वर्तमान में यह भारत की ग्रामीण विकास यात्रा का एक मजबूत स्तंभ बन चुका है। उन्होंने नाबार्ड की कार्य संस्कृति और उसके अधिकारियों की प्रशंसा की और सहकारी समितियों के सामने आने वाले सबसे चुनौतीपूर्ण मुद्दों को धैर्यपूर्वक सुनने और उनके समाधान प्रदान करने पर जोर दिया।
इस दौरान सहकारिता राज्य मंत्री जेपीएस राठौर कहा कि 2047 तक भारत को विकसित देश बनाने का लक्ष्य तभी प्राप्त किया जा सकता है जब उत्तर प्रदेश अग्रणी भूमिका निभाए। उन्होंने प्रदेश की वन ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए राज्य में सहकारी समितियों और पैक्स को मजबूत करने के महत्व पर जोर दिया। मुख्य महाप्रबंधक एसके ने कहा कि नाबार्ड ने लाखों ग्रामीणों के दिलों को छुआ है। कैसे वर्ष 1992-93 के दौरान गरीबों के लगभग 500 स्वयं सहायता समूहों को औपचारिक वित्तीय संस्थाओं से जोडने के लिए एसएचजी-बीएलपी के साथ इसके प्रारंभिक प्रयोग को नाबार्ड द्वारा दुनिया के सबसे बड़े माइक्रोफाइनैस कार्यक्रम में बदल दिया गया है।
उत्तर प्रदेश में अपनी स्थापना के बाद से नाबार्ड ने ग्रामीण बुनियादी ढांचे के वितपोषण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है, जिससे बाढ़ सुरक्षा उपायो, ग्रामीण विद्यालयों तथा वाटरशेड विकास पहलों के अलावा 54.11 लाख हेक्टेयर की सिचाई क्षमता, 3.01 लाख मीटर ग्रामीण पुल तथा 46000 किलोमीटर से अधिक ग्रामीण सड़कें बनाने में मदद मिली है।
इस अवसर पर नाबार्ड ने ग्रामीण विकास में विभिन्न हितधारकों के उत्कृष्ट योगदान को सम्मानित किया। यूपीएससीबी और 10 डीसीसीबी तथा 03 पैक्स की व्यवसाय विस्तार, वित्तीय समावेशन और नई प्रौद्योगिकियों की अपनाने आदि में उनके उत्कृष्ट कार्यों के लिए सम्मानित किया गया। बाराबंकी जिले के मुबारकपुर और बरैया में और बहराइच जिले के कटरा बहादुरगंज में बहुउद्देशीय पैक्स को पैक्स कम्प्यूटरीकरण कार्य के तहत उनके उत्कृष्ट कार्य के लिए सम्मानित किया गया।
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